बढ़ती महंगाई का प्रभाव हैलोवीन कैन्डी पर भी पड़ रहा हैं : नील चैहान

Rising inflation is also affecting Halloween candy: Neil Chauhan

Rising inflation is also affecting Halloween candy: Neil Chauhan
Rising inflation is also affecting Halloween candy: Neil Chauhan

टोरंटो। टोरंटो के प्रख्यात टिकटॉक क्रिएटर और टॉय सोल्जर मार्केटिंग के संस्थापक नील चैहान ने बताया कि पिछले कुछ दिनों में ही टोरंटो की मुद्रा स्फीति तेजी से कम हुई हैं, जिसके प्रभाव के कारण वर्तमान वर्ष में लोगों की हैलोवीन कैन्डीज पर भी गहरा प्रभाव पड़ा हैं, जिसका आकार गत वर्षों में कहीं बड़ा देखने को मिलता था, वहीं अब इसका साईज बहुत छोटा कर दिया गया हैं। इसके साथ कई अन्य संबंधित उपहार व आकर्षक सामग्रियां भी दी जाती थी, लेकिन अब संबंधित बैग से वे सभी चीजें नदारद हैं। आयोजकों का यह भी कहना है कि अब एक संबंधित बैग में मूंगफली के बैग के स्थान पर केवल चार-पांच पीस मूंगफली रखी गई हैं। इसके अतिरिक् चॉकलेट बार का भी साईज छोटा कर दिया गया हैं, जिसे माने तो यह आधा या तीन-चौथाई कह सकते हैं।

बॉक्स में केवल देखने में बड़ा हैं, लेकिन उसमें रखी गई सभी वस्तुएं बहुत अधिक आकार में बड़ी नहीं हैं, परंतु अपने पुराने स्वाद से कहीं अधित स्वादिष्ट हैं, जिसके कारण लोग पिछली कंपनियों के प्रबंधन को याद करके उन्हें प्रोत्साहित कर रहे हैं। डलहौजी यूनिवर्सिटी के एग्री-फूड के लैब पर्यवेक्षक स्यालवेन चार्लीबोइस ने मीडिया को बताया कि वर्ष 2011 में जब वह 12 वर्ष का था तो उसे जो चॉकलेट मिली थी, उसका मूल्य केवल पिछले 12 वर्ष में लगभग 44 प्रतिशत बढ़ा हैं, जिससे यह अनुमान लगाया जा सकता हैं कि हैलोवीन बैग में कैसे वस्तुओं की कटौती की जा रही हैं, जिससे बच्चे पूर्व हैलोवीन की भांति खेल-खिलौनें के साथ-साथ खाद्य वस्तुओं के वितरण की भी प्रणाली में बढ़-चढ़कर हिस्सा लें और भविष्य में इसी प्रकार के वितरण कार्यक्रमों को बढ़ावा दिया जाएं, जिससे न केवल देश में अर्थव्यस्था को मजबूती मिलेगी, अपितु कौशल पर भी अधिक ध्यान दें।

ज्ञात हो कि सेन्ट्रल बैंक की घोषणा के अनुसार वे बुधवार को ब्याज दरों में बढ़ोत्तरी को लेकर नई घोषणाएं कर सकते हैं, सूत्रों के अनुसार वर्ष 2022 में भी बैंक ऑफ कैनेडा ने अपनी ब्याज दरों में 10 बार परिवर्तन किया था, जिसका मूल उद्देश्य देश की अर्थव्यवथा को मजबूत बनाना था, इस बदलाव से महंगाई में भी दो प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई थी। पिछली बार बैंक द्वारा 6 सितम्बर को ब्याज दरों में बढ़ोत्तरी की घोषणा की गई थी, उसके केवल डेढ़ माह के बाद ही पुन: वृद्धि सभी के लिए चिंता का विषय हैं। फोर्ड ने अपने लिखित पत्र द्वारा बैंक के गर्वनर और प्रधानमंत्री दोनों को बताया कि इस बढ़ोत्तरी से केवल आम नागरिकों की ऋण प्रणालियां ही प्रभावित नहीं होगी अपितु सरकारी निर्माण योजनाओं के खर्चों में भी वृद्धि होने से इस पर गहना प्रभाव पड़ेगा और एक बार फिर से देश में महंगाई का दौर लौट सकता हैं।

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